नई दिल्ली, एएनआइ। नरेंद्र मोदी सरकार कल यानी बुधवार को मंत्रिमंडल का विस्तार करने जा रही है। इससे एक दिन पहले मोदी सरकार ने एक नया मंत्रालय बनाया है। 'सहकार से समृद्धि' के विजन को आगे बढ़ाने के लिए सरकार द्वारा एक अलग 'सहकारिता मंत्रालय' बनाया गया है।
समाचार एजेंसी के मुताबिक, 'सहकार से समृद्धि' के विजन को साकार करने के लिए पीएम नरेंद्र मोदी के नेतृत्व वाली केंद्र सरकार द्वारा एक अलग 'सहकारिता मंत्रालय' बनाया गया है। यह मंत्रालय देश में सहकारिता आंदोलन को मजबूत करने के लिए अलग से प्रशासनिक, कानूनी और नीतिगत ढांचा मुहैया कराएगा।
भारत के पहले सहकारिता मंत्री को भी बुधवार को केंद्रीय मंत्रिमंडल में फेरबदल के बाद शपथ दिलाई जाएगी और नए मंत्री राष्ट्रपति भवन के दरबार हॉल में पद की शपथ लेंगे। सूत्रों ने कहा कि नया मंत्रालय सहकारी समितियों को जमीनी स्तर तक पहुंचने वाले एक सच्चे, जन-आधारित आंदोलन के रूप में गहरा करने में मदद करेगा। बताया गया कि देश में सहकारी आधारित आर्थिक विकास मॉडल बहुत प्रासंगिक है जहां प्रत्येक सदस्य जिम्मेदारी से काम किया करते हैं।
मंत्रालय सहकारी समितियों के लिए 'व्यापार करने में आसानी' के लिए प्रक्रियाओं को कारगर बनाने और बहु-राज्य सहकारी समितियों (एमएससीएस) के विकास को सक्षम बनाने के लिए काम करेगा। बताया गया कि केंद्र सरकार ने समुदाय आधारित विकासात्मक साझेदारी के प्रति अपनी गहरी प्रतिबद्धता का संकेत दिया है। उन्होंने कहा कि एक अलग मंत्रालय का गठन केंद्रीय बजट में वित्त मंत्री द्वारा की गई घोषणा को भी पूरा करता है।
बता दें कि कैबिनेट विस्तार का खाका तैयार हो गया है। उत्तर प्रदेश और बिहार को बड़ा हिस्सा मिल सकता है। दरअसल उत्तर प्रदेश जैसे अहम राज्य में अगले साल की शुरुआत में ही चुनाव है। दूसरी ओर, बिहार से सहयोगी दल जदयू को भी कैबिनेट में प्रतिनिधित्व देना है। इस विस्तार में अनुभव को सबसे ऊपर रखने की बात कही जा रही है। ऐसे में राज्यों में बतौर मुख्यमंत्री जिम्मेदारी संभाल चुके और राज्य सरकारों में लंबे समय तक मंत्री पद संभाल चुके नेता प्राथमिकता में हैं। कुछ पूर्व अफसर भी इसमें दिख सकते हैं।
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मोदी मंत्रिमंडल विस्तार से पहले बनाया गया एक नया मंत्रालय, सहकार से समृद्धि के विजन को आगे बढ़ाया जाएगा - दैनिक जागरण (Dainik Jagran)
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